Sunday 6 August 2017

हरदा - बस वालो की मनमानी दुगना किराया तक वसूला जा रहा है हरदा-इंदौर के यात्रियों से!

एजेंट खुल्लम खुल्ला ले रहे मनमाना किराया, शिकायत के बाद भी मूकदर्शक बने अधिकारी  त्योहार आने से बस मालिकों एवं एजेंटों की चांदी हो जाती है। जहां एक ओर यात्रियों से मनमाना किराया वसूला किया जाता है वहीं दूसरी ओर यात्रियों की सुविधा का तनिक भी ख्याल नहीं किया जाता। यात्रियों द्वारा सुविधा व मनमाना किराया के बारे में बातचीत की जाती है तो एजेंट ना केवल बदसलूकी करते हैं अपितु गाली गलोच कर मारपीट को भी उतारू हो जाते हैं ।टिमरनी खिड़कियां हरदा सहित दूरदराज स्थानों से भोपाल इंदौर जाने वाले यात्रियों से खुल्लम-खुल्ला मनमानी की जा जाती रही है ।

🔹 *हरदा इंदौर ए सी बस का किराया 200 ₹ से सीधे 400 ₹ हो जाता है...*

इंदौर का वीडियो कोच का किराया ₹200 है किंतु त्यौहार के कारण जबरदस्ती ₹400 तक वसूल किया जाता है। वही सामान्य बसों का  इंदौर से हरदा का किराया डेढ़ सौ रुपए है  किंतु  ₹300 की रसीद  टिकट काटी जा रही है  टिकट पर ना तो तारीख लिखी जा रही है और ना ही बस का नाम जिला परिवहन अधिकारी सहित जवाबदेह अधिकारियों को अजय गोरखे ने अवगत कराया। फिर भी उनके द्वारा कोई कार्यवाही नहीं की जा रही ।किराया सूची में चस्पा नहीं किया जाता। खुलेआम मनमानी की जाती  रही है। कार्रवाई नहीं होने से एजेंटों एवं बस मालिकों के हौसले बुलंद है। मनमाना किराया की रसीद भी नहीं दी जाती कभी तो इसलिए मजबूर यात्री लिखित उपभोक्ता फोरम व अन्यत्र शिकायत नहीं कर पा रहे। यह सिलसिला कब तक जारी रहेगा इस बारे में कुछ कहा नहीं जा सकता। क्योंकि जिम्मेदार अधिकारी इस तरफ ध्यान नहीं दे रहे। जबकि उन्हें लूट खसोट की जानकारी भली-भांति है फिर भी आंख पर पट्टी बांधकर गांधारी की भूमिका निभा रहे है।
वही सोशल मीडिया साइड व्हाट्स एप पर अधिकारी और पत्रकार ग्रुप में एडीएम बाबूलाल कोचले ने चल रही बातचीत और सबूत वीडियो  देखे  तो उन्होंने तत्काल तहसीलदार को बस स्टैंड भेजकर कार्यवाही के निर्देश दिए वही आर टी ओ आफिस के पास विभाग द्वारा शनिवार को चौकी लगाके गाड़ियों की जांच भी की जिसमे से 8 हजार की राजस्व वसूली की गई मगर जांच के शिथिल होने के बाद बस वालो ने पुनः मनमानी शुरू करदी और हर त्यौहार पर इसी तरह यात्रियों को दुगना तो कभी तिगुना किराया तक भी देना पडता हे जो गलत है @sourses.RTIst.mukesh.dubey

No comments:

Post a Comment